नई दिल्ली: एशिया कप 2025 खत्म हुए करीब छह हफ्ते बीत चुके हैं, लेकिन भारतीय टीम को अब तक ट्रॉफी नहीं मिली है। 28 सितंबर को दुबई इंटरनेशनल स्टेडियम में हुए फाइनल में सूर्यकुमार यादव की कप्तानी में भारत ने पाकिस्तान को पांच विकेट से हराकर अपना नौवां एशिया कप खिताब जीता था। लेकिन मैच के बाद जो दृश्य सामने आए, उसने पूरे क्रिकेट जगत को हैरान कर दिया।
दरअसल, भारतीय टीम ने ट्रॉफी लेने से इनकार कर दिया, क्योंकि उसे पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (PCB) के चेयरमैन और साथ ही पाकिस्तान के इंटीरियर मिनिस्टर मोहसिन नकवी से ट्रॉफी लेनी थी। नकवी इस समय एशियन क्रिकेट काउंसिल (ACC) के अध्यक्ष भी हैं, और इसी दोहरी भूमिका को लेकर अब विवाद गहरा गया है।
BCCI अब ICC मीटिंग में उठाएगा मामला
टेलीकॉम एशिया स्पोर्ट्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक, बीसीसीआई अब इस पूरे मामले को इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) की बोर्ड मीटिंग में उठाने जा रहा है, जो इस हफ्ते दुबई में होने वाली है। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि बीसीसीआई ने मोहसिन नकवी के खिलाफ आरोपों की एक सूची तैयार की है और उनकी पात्रता पर सवाल उठाने वाला प्रस्ताव रखने वाला है।
बीसीसीआई का कहना है कि किसी व्यक्ति का सरकारी पद और खेल प्रशासनिक पद दोनों एक साथ संभालना आईसीसी के गवर्नेंस नियमों का उल्लंघन है। मोहसिन नकवी न केवल पाकिस्तान के इंटीरियर मिनिस्टर हैं, बल्कि पीसीबी और एसीसी दोनों के प्रमुख पदों पर भी बैठे हैं।
ट्रॉफी हैंडओवर विवाद बना वजह
सूत्रों के मुताबिक, ट्रॉफी हैंडओवर को लेकर स्थिति अब भी अस्पष्ट है। बीसीसीआई सचिव देवजीत सैकिया ने हाल ही में कहा कि इस मुद्दे को लेकर पहले ही एसीसी को एक औपचारिक पत्र भेजा गया था, लेकिन अब तक कोई जवाब नहीं मिला है।
मीडिया रिपोर्ट में बताया गया कि शुक्रवार को होने वाली आईसीसी बोर्ड मीटिंग में बीसीसीआई इस मामले को औपचारिक रूप से उठाएगा। सैकिया ने संकेत दिया कि इस देरी को लेकर बोर्ड बेहद गंभीर है और इसे खेल भावना और संगठनात्मक पारदर्शिता के खिलाफ मानता है।
अफगानिस्तान बोर्ड भी देगा समर्थन
टेलीकॉम एशिया स्पोर्ट की रिपोर्ट के मुताबिक, बीसीसीआई को इस मामले में अफगानिस्तान क्रिकेट बोर्ड (ACB) का भी समर्थन मिल सकता है। दरअसल, हाल ही में पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच रिश्ते तब और बिगड़ गए जब पाकिस्तान की एक कथित सैन्य कार्रवाई में तीन अफगान घरेलू क्रिकेटरों की मौत हो गई। इसके बाद अफगानिस्तान ने पाकिस्तान में होने वाली त्रिकोणीय सीरीज से अपना नाम वापस ले लिया था।
ट्रॉफी रह गई अधूरी जीत की कहानी
एशिया कप फाइनल के बाद का दृश्य बेहद असामान्य था। भारतीय टीम मैदान पर खड़ी रही, लेकिन ट्रॉफी उठाने से मना कर दिया। मोहसिन नकवी जब मंच पर पहुंचे, तब भारतीय खिलाड़ियों ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी और अंततः नकवी ट्रॉफी लेकर चले गए। इसके बाद भारत की जीत का जश्न बिना ट्रॉफी और मेडल के मनाया गया, जो क्रिकेट इतिहास में शायद पहली बार हुआ। इस घटना ने न केवल भारत-पाकिस्तान क्रिकेट संबंधों को और तनावपूर्ण बना दिया, बल्कि एशियन क्रिकेट काउंसिल की साख पर भी सवाल खड़े कर दिए।
अब नजरें ICC मीटिंग पर
अब सबकी निगाहें ICC की बोर्ड मीटिंग पर टिकी हैं, जहां बीसीसीआई औपचारिक रूप से यह मामला उठाने वाला है। संभावना है कि यह मुद्दा एशिया कप ट्रॉफी की वापसी और मोहसिन नकवी की दोहरी भूमिका दोनों पर केंद्रित रहेगा। अगर ICC इसे गंभीरता से लेता है, तो आने वाले महीनों में एशियन क्रिकेट काउंसिल की नेतृत्व संरचना में बड़ा बदलाव देखने को मिल सकता है। फिलहाल, भारतीय टीम की ऐतिहासिक जीत का जश्न ट्रॉफी के बिना अधूरा ही बना हुआ है और क्रिकेट फैंस इसी जवाब का इंतजार कर रहे हैं कि आखिर वह ट्रॉफी अब तक कहां है।
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